Vastu Tips for Name Plate: जानिए कैसी होनी चाहिए घर की नेम प्लेट, क्या हैं इसके लिए वास्तु के नियम
Vastu Tips for Name Plate: हिंदू धर्म में वास्तु का बहुत महत्व है और आज के दौर में ज्यादातर लोग या कंपनियां घर या बिल्डिंग बनाने से पहले वास्तु का इस्तेमाल करती हैं। ऐसा माना जाता है कि वास्तु के नियमों का पालन करने से जीवन में सुख-समृद्धि आती है। इससे करियर, लव, फाइनेंस और हेल्थ से जुड़ी सभी समस्याओं से छुटकारा मिलता है। साथ ही परिवार के सभी सदस्यों को जीवन के हर क्षेत्र में अपार सफलता मिलती है और कभी भी धन की कमी का सामना नहीं करना पड़ता है।
वास्तु के अनुसार घर के बाहर लगी नेम प्लेट का भी घर के सदस्यों पर गहरा प्रभाव पड़ता है। असल में वैदिक ज्योतिष में नेम प्लेट बुध का प्रतिनिधित्व करती है और ये तीसरे भाव से संबंधित है। जिसके चलते गलत तरीके से नेम प्लेट लगाने से जीवन में कई तरह की परेशानियां आ सकती हैं। आइए जानते हैं घर के बाहर नेम प्लेट लगाते समय किन बातों का ध्यान रखना चाहिए?
नेम प्लेट के लिए वास्तु के नियम:
नेम प्लेट को साफ करने के लिए विशेष ध्यान रखा जाना चाहिए।
वास्तु में आयताकार नेमप्लेट को शुभ माना जाता है।
नेम प्लेट मुख्य द्वार के दाईं ओर लगाई जानी चाहिए।
नेम प्लेट पर लिखे शब्द स्पष्ट रूप से दिखाई देने चाहिए।
-नेम प्लेट टूटी, ढीली या उस पर छेद नहीं होना चाहिए।
आप नेम प्लेट पर भगवान गणेश या स्वास्तिक का प्रतीक बना सकते हैं।
यदि नेम प्लेट टूट जाती है या पॉलिश खराब हो जाती है, तो इसे तुरंत बदल दिया जाना चाहिए।
– नेम प्लेट के पीछे मकड़ी, छिपकली या पक्षी का वास नहीं होना चाहिए।
नेम प्लेट पर सफेद, पीले और केसरिया से मिलते-जुलते रंगों का इस्तेमाल करना चाहिए।
वास्तु के अनुसार प्लास्टिक से बनी नेम प्लेट का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए।
तांबे, स्टील या पीतल धातु से बनी नेम प्लेट्स इस्तेमाल करनी चाहिए।
इसके अलावा लकड़ी या पत्थर से बनी नेम प्लेट का भी इस्तेमाल किया जा सकता है।